shahdol-news:-सीधी-थाना-क्षेत्र-से-लापता-नाबालिग-बच्ची-का-नहीं-लगा-सुराग,-पुलिस-की-कार्यशैली-पर-उठ-रहे-सवाल
पीड़ित पति-पत्नी - फोटो : अमर उजाला विस्तार शहडोल जिले के सीधी थाना क्षेत्र से पखवाड़ा भर पहले घर से लापता हुई साढ़े 13 साल की नाबालिग का अब तक पता नहीं चल सका है। हद तो उस वक्त हो गई, जब नाबालिग का पता चलने के बाद भी थाना पुलिस यह कहकर टालमटोल करती रही कि हमारे पास वहां तक जाने को साधन उपलब्ध नहीं हैं। परिवार ने अपनी जमीन गिरवी रखकर कुछ पैसे का इंतजाम किया और एक किराए की गाड़ी करके पुलिस के साथ बेटी को तलाश करने गंतव्य तक गए। लेकिन उन्हें खाली हाथ लौटना पड़ा। उसके बाद अपनी नाबालिग बच्ची को तलाश करने की गुहार लगाने मंगलवार को माता-पिता पुलिस अधीक्षक से मिलने मीलों का सफर तय कर शहडोल पहुंचे। उन्होंने बताया कि गत 13 मार्च को हम पति पत्नी उर्स में शामिल होने सतना चले गए थे। घर में केवल हमारी साढ़े 13 साल की बेटी थी। अगले दिन हमें हमारे रिश्तेदार ने फोन करके बताया कि घर में ताला लगा हुआ है और तुम्हारी बेटी गायब है, जिसके बाद हम लोग सतना से वापस घर सीधी लौटे। काफी समय तक बेटी को गांव में ढूंढते रहे, लेकिन कहीं पता नहीं चला। रिश्तेदारी में भी पूछताछ की गई, लेकिन कहीं भी बेटी नहीं मिली। जब घर का ताला तोड़कर हम लोग अंदर गए तो देखा कि वहां रखे 24 हजार रुपये भी गायब हैं। इसके बाद हम लोगों ने थाना जाकर इसकी लिखित शिकायत दर्ज कराई। फोन आया- मेरे पास है तुम्हारी बेटी... माता पिता ने बताया कि थाने में शिकायत दर्ज कराने के बाद भी हम लोग अपनी बेटी की तलाश में जुटे रहे। इस बीच लड़की की मां के मोबाइल में एक अनजान नंबर से फोन आया, जिसमें किसी पुरुष की आवाज में यह कहा गया कि तुम्हारी बेटी मेरे पास दतिया में है। इसके बाद उस व्यक्ति ने फोन काट दिया। इस बात की जानकारी तत्काल ही परिजनों द्वारा सीधी थाना जाकर दी गई। माता-पिता द्वारा पुलिस से निवेदन किया गया कि साहब हमारी बेटी को उस व्यक्ति के चंगुल से आजाद करा दीजिए, जिस पर पुलिस द्वारा वहां तक जाने के लिए साधन नहीं होने की बात कही गई। लेकिन गरीब मां-बाप को अपनी नाबालिग बेटी की चिंता सताए जा रही थी। इसलिए उनके पास जो थोड़ी सी जमीन थी, उसे किसी साहूकार के पास गिरवी रखकर उससे नौ हजार रुपये ब्याज पर लिया। इसके बाद उन पैसों से एक बोलेरो वाहन किराए पर लेकर पुलिस के साथ दतिया रवाना हो गए। लेकिन गंतव्य तक पहुंचने के बाद पता चला कि फोन करने वाला युवक उसे लेकर कहीं और भाग गया है। साथ ही मोबाइल भी बंद कर लिया है।  इसके बाद परिजन उलटे पांव वापस घर लौट आए। लगभग 15 दिन का समय गुजरने के बाद भी बेटी न तो घर लौटकर आई और न ही उसका कहीं पता चला पा रहा है, जिसके बाद आज अपनी बेटी का पता लगाने की फरियाद लेकर माता-पिता मीलों का सफर तय कर पुलिस अधीक्षक से मिलने शहडोल पहुंचे।

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पीड़ित पति-पत्नी – फोटो : अमर उजाला

विस्तार शहडोल जिले के सीधी थाना क्षेत्र से पखवाड़ा भर पहले घर से लापता हुई साढ़े 13 साल की नाबालिग का अब तक पता नहीं चल सका है। हद तो उस वक्त हो गई, जब नाबालिग का पता चलने के बाद भी थाना पुलिस यह कहकर टालमटोल करती रही कि हमारे पास वहां तक जाने को साधन उपलब्ध नहीं हैं। परिवार ने अपनी जमीन गिरवी रखकर कुछ पैसे का इंतजाम किया और एक किराए की गाड़ी करके पुलिस के साथ बेटी को तलाश करने गंतव्य तक गए। लेकिन उन्हें खाली हाथ लौटना पड़ा। उसके बाद अपनी नाबालिग बच्ची को तलाश करने की गुहार लगाने मंगलवार को माता-पिता पुलिस अधीक्षक से मिलने मीलों का सफर तय कर शहडोल पहुंचे।

उन्होंने बताया कि गत 13 मार्च को हम पति पत्नी उर्स में शामिल होने सतना चले गए थे। घर में केवल हमारी साढ़े 13 साल की बेटी थी। अगले दिन हमें हमारे रिश्तेदार ने फोन करके बताया कि घर में ताला लगा हुआ है और तुम्हारी बेटी गायब है, जिसके बाद हम लोग सतना से वापस घर सीधी लौटे। काफी समय तक बेटी को गांव में ढूंढते रहे, लेकिन कहीं पता नहीं चला। रिश्तेदारी में भी पूछताछ की गई, लेकिन कहीं भी बेटी नहीं मिली। जब घर का ताला तोड़कर हम लोग अंदर गए तो देखा कि वहां रखे 24 हजार रुपये भी गायब हैं। इसके बाद हम लोगों ने थाना जाकर इसकी लिखित शिकायत दर्ज कराई।

फोन आया- मेरे पास है तुम्हारी बेटी…
माता पिता ने बताया कि थाने में शिकायत दर्ज कराने के बाद भी हम लोग अपनी बेटी की तलाश में जुटे रहे। इस बीच लड़की की मां के मोबाइल में एक अनजान नंबर से फोन आया, जिसमें किसी पुरुष की आवाज में यह कहा गया कि तुम्हारी बेटी मेरे पास दतिया में है। इसके बाद उस व्यक्ति ने फोन काट दिया। इस बात की जानकारी तत्काल ही परिजनों द्वारा सीधी थाना जाकर दी गई। माता-पिता द्वारा पुलिस से निवेदन किया गया कि साहब हमारी बेटी को उस व्यक्ति के चंगुल से आजाद करा दीजिए, जिस पर पुलिस द्वारा वहां तक जाने के लिए साधन नहीं होने की बात कही गई।

लेकिन गरीब मां-बाप को अपनी नाबालिग बेटी की चिंता सताए जा रही थी। इसलिए उनके पास जो थोड़ी सी जमीन थी, उसे किसी साहूकार के पास गिरवी रखकर उससे नौ हजार रुपये ब्याज पर लिया। इसके बाद उन पैसों से एक बोलेरो वाहन किराए पर लेकर पुलिस के साथ दतिया रवाना हो गए। लेकिन गंतव्य तक पहुंचने के बाद पता चला कि फोन करने वाला युवक उसे लेकर कहीं और भाग गया है। साथ ही मोबाइल भी बंद कर लिया है। 

इसके बाद परिजन उलटे पांव वापस घर लौट आए। लगभग 15 दिन का समय गुजरने के बाद भी बेटी न तो घर लौटकर आई और न ही उसका कहीं पता चला पा रहा है, जिसके बाद आज अपनी बेटी का पता लगाने की फरियाद लेकर माता-पिता मीलों का सफर तय कर पुलिस अधीक्षक से मिलने शहडोल पहुंचे।

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