sagar-news:-बहुत-कठिन-स्कूल-की-डगर…-कीचड़-से-भरे-रास्ते-से-निकलकर-स्कूल-जा-रहे-बच्चे,-हाथ-में-पकड़ते-हैं-जूते
इस तरह कीचड़ भरे रास्ते से गुजरते हैं बच्चे। - फोटो : अमर उजाला विस्तार Follow Us मध्य प्रदेश सरकार एक तरफ करोड़ों रुपये के विकास कार्य कर जाल विछाने में लगी हुई है। वहीं, दूसरी ओर बच्चों को स्कूल जाने के लिए एक अच्छा रास्ता भी नहीं मिल पा रहा है। ऊपर लगी तस्वीर सागर जिला मुख्यालय से महज 50 किमी दूर रहली विकासखण्ड के ग्राम ढोड़ा से सामने आई है, जहां स्कूल को जाने वाला रास्ता विकास कार्य को उजागर करने के लिए काफी है। स्कूल में पढ़ने वाले छात्र-छात्राएं उबड़-खाबड़ और कीचड़ से युक्त रास्ता होने से स्कूल जाने में भी कतराते हैं, इसका सीधा असर उनके भविष्य पर पढ़ेगा।   बच्चों को हाथ में चप्पल लेकर कीचड़ में सने रास्ते से निकलने वाली यह तस्वीर ग्राम पंचायत के जनप्रतिनिधि और जिम्मेदार अफसरों पर सवाल खड़े कर रही है। ग्रामीणों का कहना है कि बरसात के मौसम में हमारे बच्चे बड़ी मुश्किल से इन रास्तों से गुजरते हैं। खराब रास्ते के कारण वे स्कूल जाने से भी मना करने लगे हैं। बारिश के 4 महीने बड़ी मुसीबत के होते हैं।    पंचायत सचिव सोनू सेन से सड़क को लेकर कॉल पर बात की गई तो उन्होंने कहा कि पंचायत में ऐसे कोई भी रोड की जानकारी नही हैं। रहली जनपद पंचायत के सीईओ आरजी अहिरवार ने इस पर कोई भी बात करने से इंकार कर दिया। 

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इस तरह कीचड़ भरे रास्ते से गुजरते हैं बच्चे। – फोटो : अमर उजाला

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मध्य प्रदेश सरकार एक तरफ करोड़ों रुपये के विकास कार्य कर जाल विछाने में लगी हुई है। वहीं, दूसरी ओर बच्चों को स्कूल जाने के लिए एक अच्छा रास्ता भी नहीं मिल पा रहा है। ऊपर लगी तस्वीर सागर जिला मुख्यालय से महज 50 किमी दूर रहली विकासखण्ड के ग्राम ढोड़ा से सामने आई है, जहां स्कूल को जाने वाला रास्ता विकास कार्य को उजागर करने के लिए काफी है। स्कूल में पढ़ने वाले छात्र-छात्राएं उबड़-खाबड़ और कीचड़ से युक्त रास्ता होने से स्कूल जाने में भी कतराते हैं, इसका सीधा असर उनके भविष्य पर पढ़ेगा।  

बच्चों को हाथ में चप्पल लेकर कीचड़ में सने रास्ते से निकलने वाली यह तस्वीर ग्राम पंचायत के जनप्रतिनिधि और जिम्मेदार अफसरों पर सवाल खड़े कर रही है। ग्रामीणों का कहना है कि बरसात के मौसम में हमारे बच्चे बड़ी मुश्किल से इन रास्तों से गुजरते हैं। खराब रास्ते के कारण वे स्कूल जाने से भी मना करने लगे हैं। बारिश के 4 महीने बड़ी मुसीबत के होते हैं।   

पंचायत सचिव सोनू सेन से सड़क को लेकर कॉल पर बात की गई तो उन्होंने कहा कि पंचायत में ऐसे कोई भी रोड की जानकारी नही हैं। रहली जनपद पंचायत के सीईओ आरजी अहिरवार ने इस पर कोई भी बात करने से इंकार कर दिया। 

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