राजस्थान, छत्तीसगढ़ और मध्य प्रदेश में विधानसभा चुनाव इसी साल होने हैं. बीजेपी, कांग्रेस समेत अन्य दलों ने इसकी तैयारी शुरू कर दी है. राजस्थान और छत्तीसगढ़ में जहां कांग्रेस की सरकार है, वहीं मध्य प्रदेश में बीजेपी सत्तारूढ़ है. राजस्थान और छत्तीसगढ़ में सत्ता अपने नाम करने के लिए बीजेपी ने अभी से तैयारी शुरू कर दी है. राजस्थान में बीजेपी और कांग्रेस के बीच कांटे की टक्कर राजस्थान को लेकर उसने खास तैयारी की है. जानकारों की मानें तो इस बार यहां कांग्रेस के साथ कांटे का मुकाबला हो सकता है. बीजेपी ने शुरुआती चरण में 200 विधानसभा सीटों को कवर करने के लिए मेगा यात्रा प्लान की है. पार्टी 2 से 5 सितंबर के बीच 4 परिवर्तन यात्राएं प्लान कर रही है, जो 9000 किमी की दूरी तय करेगी. इसमें पार्टी के दिग्गज नेता प्रचार अभियान की कमान संभालेंगे. बीजेपी अध्यक्ष जेपी नड्डा, गृह मंत्री अमित शाह, रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह और केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी अलग-अलग विधानसभा क्षेत्रों में रैली करेंगे. मकसद नेताओं को एकजुट करना इन यात्राओं का मकसद स्थानीय बीजेपी नेताओं को एकजुट करना है. इस बीच, राजस्थान में सीएम पद की दावेदारी में कई नाम सामने आ रहे हैं. इनमें बीजेपी प्रदेश अध्यक्ष सीपी जोशी का नाम शामिल है. हालांकि बीजेपी आलाकमान ने अभी सीएम पद के उम्मीदवार के नाम के पत्ते नहीं खोले हैं. जानकारों की मानें तो पार्टी अगर सत्ता में आती है तो किसी ऐसे चेहरे को भी सीएम पद दे सकती है, जिसका बड़ा जनाधार या लोकप्रिय चेहरा न हो. सीएम पद के दावेदार राजस्थान में बीजेपी की ओर से सीएम पद के दावेदारों में पूर्व मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे, केंद्रीय मंत्री गजेंद्र सिंह शेखावत, अश्विनी वैष्णव, अर्जुन राम मेघवाल, पूर्व प्रदेश अध्यक्ष सतीश पूनिया, विपक्ष के नेता राजेंद्र राठौर और लोकसभा स्पीकर ओम बिरला, राज्यसभा एमपी किरोड़ी लाल मीना और पार्टी अध्यक्ष जोशी के नाम चल रहे हैं. परिवर्तन यात्राओं का मकसद बीजेपी स्थानीय नेताओं के बड़े कद और रसूख को दबाने के लिए राष्ट्रीय स्तर के नेताओं को परिवर्तन यात्राओं में उतारने की योजना पर चल रही है. चुनाव के पहले ऐसा करने से जनता के बीच यह मैसेज भी जाएगा कि पार्टी में एकजुटता है. स्थानीय के साथ राष्ट्रीय स्तर के नेताओं के यात्रा में उतरने से इस मंसूबे में कामयाबी मिलेगी. मोदी और कमल के नाम पर चुनाव बीजेपी संगठन ने पहले ही तय किया था कि इस बार भी चुनाव मोदी और कमल के नाम पर लड़ेंगे. इससे यह संदेश जाएगा कि चुनाव में अभियान का चेहरा प्रधानमंत्री खुद होंगे. हालांकि राजे समर्थकों को इस रणनीति से कोई चमत्कार होते नहीं दिख रहा. राजे बीजेपी की हाल में बनीं चुनाव संबंधी समितियों में भी नहीं हैं. इस समिति का नाम मेनिफेस्टो और पोल मैनेजमेंट कमेटी है. राजे को इस कमेटी से दूर रखने के लिए भ्रम यह फैलाया गया कि ये पैनल उनके स्ट्रेचर को सूट नहीं करते. यही हाल परिवर्तन यात्राओं में भी देखने को मिल सकता है. आलाकमान अपना रहा बीच का रास्ता राजे भले ही संगठन की चुनावी गतिविधियों से बाहर हैं. लेकिन बीजेपी आलाकमान यह साफ करके चल रहा है कि राज्य में उसका कोई फेवरेट नहीं है. जो कुछ भी तय होगा चुनाव जीतने के बाद होगा. बड़े मंदिरों पर होगी रैली बीजेपी ने परिवर्तन यात्राओं के लिए जो जगहें चुनी हैं, उनमें 4 मंदिर शामिल हैं. ये हैं Sawai Madhopur में Trinetra Ganesh Temple, Dungarpur में Beneshwar Dham, Jaisalmer में Ramdevra Temple और Hanumangarh में Gogamedi. बीजेपी की 21 सदस्यीय इलेक्शन मैनेजमेंट कमेटी के प्रमुख एमपी नारायण पंचारिया ने बताया कि यात्राएं 20 दिन में पूरी होंगी. पार्टी सूत्रों ने कहा कि परिवर्तन यात्राएं पूरी होने के बाद प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जयपुर के बाहर एक बड़ी रैली को संबोधित करेंगे. यह रैली सितंबर के अंत में होगी. एक नेता ने कहा कि पार्टी स्थानीय नेताओं को यात्रा में समर्थक जुटाने के लिए बुला सकती है. सूत्रों की मानें तो इन यात्राओं का मकसद स्थानीय नेताओं के बीच एकजुटता लाना और दिखाना दोनों शामिल है. RajasthanGujarat ElectionsPublished Date Tue, Aug 29, 2023, 3: 41 PM IST

You can share this post!

Related News

Comments

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

राजस्थान, छत्तीसगढ़ और मध्य प्रदेश में विधानसभा चुनाव इसी साल होने हैं. बीजेपी, कांग्रेस समेत अन्य दलों ने इसकी तैयारी शुरू कर दी है. राजस्थान और छत्तीसगढ़ में जहां कांग्रेस की सरकार है, वहीं मध्य प्रदेश में बीजेपी सत्तारूढ़ है. राजस्थान और छत्तीसगढ़ में सत्ता अपने नाम करने के लिए बीजेपी ने अभी से तैयारी शुरू कर दी है.

राजस्थान में बीजेपी और कांग्रेस के बीच कांटे की टक्कर

राजस्थान को लेकर उसने खास तैयारी की है. जानकारों की मानें तो इस बार यहां कांग्रेस के साथ कांटे का मुकाबला हो सकता है. बीजेपी ने शुरुआती चरण में 200 विधानसभा सीटों को कवर करने के लिए मेगा यात्रा प्लान की है. पार्टी 2 से 5 सितंबर के बीच 4 परिवर्तन यात्राएं प्लान कर रही है, जो 9000 किमी की दूरी तय करेगी. इसमें पार्टी के दिग्गज नेता प्रचार अभियान की कमान संभालेंगे. बीजेपी अध्यक्ष जेपी नड्डा, गृह मंत्री अमित शाह, रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह और केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी अलग-अलग विधानसभा क्षेत्रों में रैली करेंगे.

मकसद नेताओं को एकजुट करना

इन यात्राओं का मकसद स्थानीय बीजेपी नेताओं को एकजुट करना है. इस बीच, राजस्थान में सीएम पद की दावेदारी में कई नाम सामने आ रहे हैं. इनमें बीजेपी प्रदेश अध्यक्ष सीपी जोशी का नाम शामिल है. हालांकि बीजेपी आलाकमान ने अभी सीएम पद के उम्मीदवार के नाम के पत्ते नहीं खोले हैं. जानकारों की मानें तो पार्टी अगर सत्ता में आती है तो किसी ऐसे चेहरे को भी सीएम पद दे सकती है, जिसका बड़ा जनाधार या लोकप्रिय चेहरा न हो.

सीएम पद के दावेदार

राजस्थान में बीजेपी की ओर से सीएम पद के दावेदारों में पूर्व मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे, केंद्रीय मंत्री गजेंद्र सिंह शेखावत, अश्विनी वैष्णव, अर्जुन राम मेघवाल, पूर्व प्रदेश अध्यक्ष सतीश पूनिया, विपक्ष के नेता राजेंद्र राठौर और लोकसभा स्पीकर ओम बिरला, राज्यसभा एमपी किरोड़ी लाल मीना और पार्टी अध्यक्ष जोशी के नाम चल रहे हैं.

परिवर्तन यात्राओं का मकसद

बीजेपी स्थानीय नेताओं के बड़े कद और रसूख को दबाने के लिए राष्ट्रीय स्तर के नेताओं को परिवर्तन यात्राओं में उतारने की योजना पर चल रही है. चुनाव के पहले ऐसा करने से जनता के बीच यह मैसेज भी जाएगा कि पार्टी में एकजुटता है. स्थानीय के साथ राष्ट्रीय स्तर के नेताओं के यात्रा में उतरने से इस मंसूबे में कामयाबी मिलेगी.

मोदी और कमल के नाम पर चुनाव

बीजेपी संगठन ने पहले ही तय किया था कि इस बार भी चुनाव मोदी और कमल के नाम पर लड़ेंगे. इससे यह संदेश जाएगा कि चुनाव में अभियान का चेहरा प्रधानमंत्री खुद होंगे. हालांकि राजे समर्थकों को इस रणनीति से कोई चमत्कार होते नहीं दिख रहा. राजे बीजेपी की हाल में बनीं चुनाव संबंधी समितियों में भी नहीं हैं. इस समिति का नाम मेनिफेस्टो और पोल मैनेजमेंट कमेटी है. राजे को इस कमेटी से दूर रखने के लिए भ्रम यह फैलाया गया कि ये पैनल उनके स्ट्रेचर को सूट नहीं करते. यही हाल परिवर्तन यात्राओं में भी देखने को मिल सकता है.

आलाकमान अपना रहा बीच का रास्ता

राजे भले ही संगठन की चुनावी गतिविधियों से बाहर हैं. लेकिन बीजेपी आलाकमान यह साफ करके चल रहा है कि राज्य में उसका कोई फेवरेट नहीं है. जो कुछ भी तय होगा चुनाव जीतने के बाद होगा.

बड़े मंदिरों पर होगी रैली

बीजेपी ने परिवर्तन यात्राओं के लिए जो जगहें चुनी हैं, उनमें 4 मंदिर शामिल हैं. ये हैं Sawai Madhopur में Trinetra Ganesh Temple, Dungarpur में Beneshwar Dham, Jaisalmer में Ramdevra Temple और Hanumangarh में Gogamedi. बीजेपी की 21 सदस्यीय इलेक्शन मैनेजमेंट कमेटी के प्रमुख एमपी नारायण पंचारिया ने बताया कि यात्राएं 20 दिन में पूरी होंगी. पार्टी सूत्रों ने कहा कि परिवर्तन यात्राएं पूरी होने के बाद प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जयपुर के बाहर एक बड़ी रैली को संबोधित करेंगे. यह रैली सितंबर के अंत में होगी. एक नेता ने कहा कि पार्टी स्थानीय नेताओं को यात्रा में समर्थक जुटाने के लिए बुला सकती है. सूत्रों की मानें तो इन यात्राओं का मकसद स्थानीय नेताओं के बीच एकजुटता लाना और दिखाना दोनों शामिल है.

RajasthanGujarat ElectionsPublished Date

Tue, Aug 29, 2023, 3: 41 PM IST