mp-news:-सीहोर-में-आपदा-की-राहत-राशि-कर्मचारियों-ने-परिचितों-के-खातों-में-डाली,-दो-करोड़-के-घोटाले-का-खुलासा
न्यूज डेस्क, अमर उजाला, सीहोर Published by: अंकिता विश्वकर्मा Updated Sun, 07 May 2023 11: 09 AM IST लेटेस्ट अपडेट्स के लिए फॉलो करें मध्यप्रदेश में करोड़ों का घोटाला उजागर हुआ है। किसानों को दी जाने वाली राहत राशि के पैसे जिम्मेदारों ने किसानों को देने की बजाय अपने परिचितों के खातों में ट्रांसफर कर लिए हैं। कलेक्टर ने जांच के बाद दोषियों पर केस दर्ज करने के निर्देश दिए हैं। सीहोर कलेक्टर (फाइल फोटो) - फोटो : सोशल मीडिया विस्तार सीहोर जिले में फर्जीवाड़े का बड़ा मामला उजागर हुआ है। जिम्मेदारों ने प्राकृतिक आपदा की राहत राशि पीड़ितों के खाते में डालने के बजाय अपने ही परिचितों के खाते में डाल दी। जिले में 2017-18 व 2021-22 में किसानों की क्षतिपूर्ति की राशि का करीब दो करोड़ का घोटाला प्रांरभिक जांच में सामने आया है। कलेक्टर प्रवीण सिंह ने मामले की जांच के बाद कार्रवाई के निर्देश दिए हैं।   जानकारी के मुताबिक किसानों की क्षतिपूर्ति की राशि जिम्मेदार कर्मचारियों द्वारा अपने परिचितों और रिश्तेदारों के खाते में डालकर यह गड़बड़ी की गई है। गबन का मामला 2018, 2019, 2020, 2021  के बारिश, ओलावृष्टि, प्राकृतिक आपदा क्षतिपूर्ति की राशि फर्जी नाम जोड़कर उनके खातों में डाली गई। बताया जा रहा है कि ग्वालियर के महालेखाकार के ऑडिट में किसानों के नाम मिस मेच होने पर सर्वर में फर्जीवाड़ा सामने आया है। जब महालेखाकार द्वारा विभिन्न जिलों से किसानों की क्षति पूर्ति के लिए आई राशि का ऑडिट किया गया, तो जिन किसानों के खातों में राशि डालनी थी उनकी जगह दूसरे लोगों के नाम निकलकर सामने आए। प्रदेश में 12 जिलों में राशि का दुरुपयोग किया गया है। ऑडिट में पता चला की सीहोर, विदिशा, रायसेन, शिवपुरी, सतना, दमोह, छतरपुर, खंडवा, सिवनी, मंदसौर, अगर, श्योपुर शामिल है। इन जिलों में करीब 15 करोड़ की राशि की हेराफेरी की संभावना है। अकेले सीहोर जिले में करीब दो करोड़ रुपये के घोटले की बात सामने आ रही है।    इछावर में 63 लाख की हेराफेरी उजागर जिले के इछावर तहसील में मामले को लेकर जब प्रशासन ने जांच की तो 63 लाख 58 हजार 894 रुपये की राशि की हेराफेरी उजागर हुई है। तहसील के नाजिर, कंप्यूटर ऑपरेटर, और ऑपरेटर की पत्नी प्रीति चौरासिया, और हल्का पटवारी ने ही अपने खातों में राशि का ट्रांजेक्शन कर लिया। यहां इनके खातों में 171 ट्रांजेक्शन कर भुगतान कर लेना सामने आया है। इसी तरह जिले की तहसील आष्टा और रेहटी में भी खातों में राशि डाली गई है। मामले को लेकर कलेक्टर प्रवीण सिंह ने बताया कि ऑडिट में मामला उजागर हुआ है, टीम बनाकर जांच के निर्देश दिए हैं। दोषियों पर एफआईआर कराई जाएगी। रहें हर खबर से अपडेट, डाउनलोड करें Android Hindi News App, iOS Hindi News App और Amarujala Hindi News APP अपने मोबाइल पे| Get all India News in Hindi related to live update of politics, sports, entertainment, technology and education etc. Stay updated with us for all breaking news from India News and more news in Hindi.

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न्यूज डेस्क, अमर उजाला, सीहोर Published by: अंकिता विश्वकर्मा Updated Sun, 07 May 2023 11: 09 AM IST

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मध्यप्रदेश में करोड़ों का घोटाला उजागर हुआ है। किसानों को दी जाने वाली राहत राशि के पैसे जिम्मेदारों ने किसानों को देने की बजाय अपने परिचितों के खातों में ट्रांसफर कर लिए हैं। कलेक्टर ने जांच के बाद दोषियों पर केस दर्ज करने के निर्देश दिए हैं। सीहोर कलेक्टर (फाइल फोटो) – फोटो : सोशल मीडिया

विस्तार सीहोर जिले में फर्जीवाड़े का बड़ा मामला उजागर हुआ है। जिम्मेदारों ने प्राकृतिक आपदा की राहत राशि पीड़ितों के खाते में डालने के बजाय अपने ही परिचितों के खाते में डाल दी। जिले में 2017-18 व 2021-22 में किसानों की क्षतिपूर्ति की राशि का करीब दो करोड़ का घोटाला प्रांरभिक जांच में सामने आया है। कलेक्टर प्रवीण सिंह ने मामले की जांच के बाद कार्रवाई के निर्देश दिए हैं।

 
जानकारी के मुताबिक किसानों की क्षतिपूर्ति की राशि जिम्मेदार कर्मचारियों द्वारा अपने परिचितों और रिश्तेदारों के खाते में डालकर यह गड़बड़ी की गई है। गबन का मामला 2018, 2019, 2020, 2021  के बारिश, ओलावृष्टि, प्राकृतिक आपदा क्षतिपूर्ति की राशि फर्जी नाम जोड़कर उनके खातों में डाली गई। बताया जा रहा है कि ग्वालियर के महालेखाकार के ऑडिट में किसानों के नाम मिस मेच होने पर सर्वर में फर्जीवाड़ा सामने आया है। जब महालेखाकार द्वारा विभिन्न जिलों से किसानों की क्षति पूर्ति के लिए आई राशि का ऑडिट किया गया, तो जिन किसानों के खातों में राशि डालनी थी उनकी जगह दूसरे लोगों के नाम निकलकर सामने आए। प्रदेश में 12 जिलों में राशि का दुरुपयोग किया गया है। ऑडिट में पता चला की सीहोर, विदिशा, रायसेन, शिवपुरी, सतना, दमोह, छतरपुर, खंडवा, सिवनी, मंदसौर, अगर, श्योपुर शामिल है। इन जिलों में करीब 15 करोड़ की राशि की हेराफेरी की संभावना है। अकेले सीहोर जिले में करीब दो करोड़ रुपये के घोटले की बात सामने आ रही है।   

इछावर में 63 लाख की हेराफेरी उजागर
जिले के इछावर तहसील में मामले को लेकर जब प्रशासन ने जांच की तो 63 लाख 58 हजार 894 रुपये की राशि की हेराफेरी उजागर हुई है। तहसील के नाजिर, कंप्यूटर ऑपरेटर, और ऑपरेटर की पत्नी प्रीति चौरासिया, और हल्का पटवारी ने ही अपने खातों में राशि का ट्रांजेक्शन कर लिया। यहां इनके खातों में 171 ट्रांजेक्शन कर भुगतान कर लेना सामने आया है। इसी तरह जिले की तहसील आष्टा और रेहटी में भी खातों में राशि डाली गई है। मामले को लेकर कलेक्टर प्रवीण सिंह ने बताया कि ऑडिट में मामला उजागर हुआ है, टीम बनाकर जांच के निर्देश दिए हैं। दोषियों पर एफआईआर कराई जाएगी।

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