न्यूज डेस्क, अमर उजाला, भोपाल Published by: आनंद पवार Updated Wed, 07 Aug 2024 10: 24 PM IST मध्य प्रदेश में राज्यसभा की एक सीट पर तीन सितंबर को मतदान होगा। चुनाव आयोग ने तारीख का एलान कर दिया है। यह सीट ज्योतिरादित्य सिंधिया के लोकसभा से निर्वाचित होने के बाद रिक्त हुई है। विधानसभा के सदस्यों की संख्या के हिसाब से यह सीट भाजपा के खाते में जाने वाली है।  भाजपा। - फोटो : अमर उजाला। विस्तार वॉट्सऐप चैनल फॉलो करें भारत चुनाव आयोग ने मध्य प्रदेश की राज्यसभा की ज्योतिरादित्य सिंधिया के लोकसभा का सदस्य निर्वाचित होने के बाद रिक्त हुई सीट के लिए मतदान की तारीख का एलान कर दिया है। इस सीट पर तीन सितंबर को मतदान होगा। चुनाव आयोग ने राज्यसभा की देशभर की 12 रिक्त सीटों के लिए अधिसूचना जारी कर दी है। इसके साथ ही अब नामांकन दाखिल करने की प्रक्रिया शुरू हो जाएगी। मध्य प्रदेश में ज्योतिरादित्य सिंधिया ने गुना-शिवपुरी सीट से लोकसभा का चुनाव लड़ा। सिंधिया ने कांग्रेस के यादवेंद्र सिंह को चुनाव हराया। इसके बाद उन्होंने राज्यसभा की सदस्यता से इस्तीफा दे दिया था। खाली हुई सीट पर 21 जून 2026 तक का कार्यकाल बचा है। इस सीट के लिए भाजपा के कई नेता कतार में हैं।  मध्य प्रदेश में विधानसभा की 230 सीट है। 2023 के विधानसभा चुनाव में भाजपा 163 और कांग्रेस ने 66 सीटें जीती। कांग्रेस के तीन विधायक भाजपा में शामिल होने से कम हो गए है। मध्य प्रदेश में अप्रैल माह में राज्यसभा की पांच सीट खाली हुई थी, जिसके लिए फरवरी में मतदान कराया गया। इसमें भाजपा के चार और कांग्रेस के एक राज्यसभा सदस्य को चुनाव गया। पार्टी के जानकारों का कहना है कि एक सीट के लिए अब जातीय समीकरण ध्यान रखकर ही निर्णय लिया जाएगा। दलित, ओबीसी और महिला वर्ग से पिछली बार सदस्य चुने गए। इस बार सामान्य कोटे से ही राज्यसभा सदस्य को चुना जा सकता है। हालांकि, लोकसभा चुनाव के दौरान अमित शाह ने उनको दिल्ली ले जाने की बात कही थी। ऐसे में पिछड़ा वर्ग से आने वाले केपी यादव की दावेदारी को भी खारिज नहीं किया जा सकता।  ये नेता कतार में  भाजपा के वरिष्ठ नेता और पूर्व मंत्री नरोत्तम मिश्रा राज्यसभा सीट के लिए दावेदार माने जा रहे हैं। ऑपरेशन लोटस और लोकसभा चुनाव के दौरान नरोत्तम मिश्रा ने बड़ी संख्या में कांग्रेसियों को भाजपा में शामिल कराया। वहीं, आपरेशन लोटस में भी उनकी अहम भूमिका थी। वह केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह के करीबी हैं। इसके अलावा पूर्व सांसद जयभान सिंह पवैया का नाम भी चर्चा में है। पवैया महाराष्ट्र भाजपा के सह प्रभारी हैं। इसके अलावा  भाजपा प्रदेश उपाध्यक्ष कांतदेव सिंह और मुकेश चतुर्वेदी के नाम की भी चर्चा है। कांतिदेव सिंह संगठन के वरिष्ठ नेताओं के करीबी हैं। उनकी विंध्य क्षेत्र में अच्छी पकड़ है। वहीं, चंबल क्षेत्र में मजबूत पकड़ रखने वाले मुकेश चतुर्वेदी, भाजपा के वरिष्ठ नेता गोपाल भार्गव और विदिशा से पूर्व सांसद रमाकांत भार्गव का नाम भी चर्चा में है। रहें हर खबर से अपडेट, डाउनलोड करें Android Hindi News App, iOS Hindi News App और Amarujala Hindi News APP अपने मोबाइल पे| Get all India News in Hindi related to live update of politics, sports, entertainment, technology and education etc. Stay updated with us for all breaking news from India News and more news in Hindi.

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न्यूज डेस्क, अमर उजाला, भोपाल Published by: आनंद पवार Updated Wed, 07 Aug 2024 10: 24 PM IST

मध्य प्रदेश में राज्यसभा की एक सीट पर तीन सितंबर को मतदान होगा। चुनाव आयोग ने तारीख का एलान कर दिया है। यह सीट ज्योतिरादित्य सिंधिया के लोकसभा से निर्वाचित होने के बाद रिक्त हुई है। विधानसभा के सदस्यों की संख्या के हिसाब से यह सीट भाजपा के खाते में जाने वाली है।  भाजपा। – फोटो : अमर उजाला।

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भारत चुनाव आयोग ने मध्य प्रदेश की राज्यसभा की ज्योतिरादित्य सिंधिया के लोकसभा का सदस्य निर्वाचित होने के बाद रिक्त हुई सीट के लिए मतदान की तारीख का एलान कर दिया है। इस सीट पर तीन सितंबर को मतदान होगा। चुनाव आयोग ने राज्यसभा की देशभर की 12 रिक्त सीटों के लिए अधिसूचना जारी कर दी है। इसके साथ ही अब नामांकन दाखिल करने की प्रक्रिया शुरू हो जाएगी। मध्य प्रदेश में ज्योतिरादित्य सिंधिया ने गुना-शिवपुरी सीट से लोकसभा का चुनाव लड़ा। सिंधिया ने कांग्रेस के यादवेंद्र सिंह को चुनाव हराया। इसके बाद उन्होंने राज्यसभा की सदस्यता से इस्तीफा दे दिया था। खाली हुई सीट पर 21 जून 2026 तक का कार्यकाल बचा है। इस सीट के लिए भाजपा के कई नेता कतार में हैं। 

मध्य प्रदेश में विधानसभा की 230 सीट है। 2023 के विधानसभा चुनाव में भाजपा 163 और कांग्रेस ने 66 सीटें जीती। कांग्रेस के तीन विधायक भाजपा में शामिल होने से कम हो गए है। मध्य प्रदेश में अप्रैल माह में राज्यसभा की पांच सीट खाली हुई थी, जिसके लिए फरवरी में मतदान कराया गया। इसमें भाजपा के चार और कांग्रेस के एक राज्यसभा सदस्य को चुनाव गया। पार्टी के जानकारों का कहना है कि एक सीट के लिए अब जातीय समीकरण ध्यान रखकर ही निर्णय लिया जाएगा। दलित, ओबीसी और महिला वर्ग से पिछली बार सदस्य चुने गए। इस बार सामान्य कोटे से ही राज्यसभा सदस्य को चुना जा सकता है। हालांकि, लोकसभा चुनाव के दौरान अमित शाह ने उनको दिल्ली ले जाने की बात कही थी। ऐसे में पिछड़ा वर्ग से आने वाले केपी यादव की दावेदारी को भी खारिज नहीं किया जा सकता। 

ये नेता कतार में 
भाजपा के वरिष्ठ नेता और पूर्व मंत्री नरोत्तम मिश्रा राज्यसभा सीट के लिए दावेदार माने जा रहे हैं। ऑपरेशन लोटस और लोकसभा चुनाव के दौरान नरोत्तम मिश्रा ने बड़ी संख्या में कांग्रेसियों को भाजपा में शामिल कराया। वहीं, आपरेशन लोटस में भी उनकी अहम भूमिका थी। वह केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह के करीबी हैं। इसके अलावा पूर्व सांसद जयभान सिंह पवैया का नाम भी चर्चा में है। पवैया महाराष्ट्र भाजपा के सह प्रभारी हैं। इसके अलावा  भाजपा प्रदेश उपाध्यक्ष कांतदेव सिंह और मुकेश चतुर्वेदी के नाम की भी चर्चा है। कांतिदेव सिंह संगठन के वरिष्ठ नेताओं के करीबी हैं। उनकी विंध्य क्षेत्र में अच्छी पकड़ है। वहीं, चंबल क्षेत्र में मजबूत पकड़ रखने वाले मुकेश चतुर्वेदी, भाजपा के वरिष्ठ नेता गोपाल भार्गव और विदिशा से पूर्व सांसद रमाकांत भार्गव का नाम भी चर्चा में है।

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