mla-रामबाई-और-नगर-पंचायत-अध्यक्ष-विवाद:-अब-ठेकेदार-बोला-cmo-ने-कहा-था-विधायक-को-देना-हैं-पांच-लाख-रुपये
आरोप लगाता ठेकेदार शिवराम पटेल - फोटो : सोशल मीडिया विस्तार Follow Us दमोह के पथरिया बीएसपी विधायक रामबाई परिहार और नगर पंचायत अध्यक्ष सुंदरलाल विश्वकर्मा के बीच चल रहे विवाद में नया मोड़ सामने आया है। अब ठेकेदार ने कहा है कि मुझे सीएमओ ने कहा था कि विधायक ने पांच लाख मांगे हैं। इसके लिए कलेक्टर को शपथ पत्र भी सौंपा गया है।  पथरिया बीएसपी विधायक रामबाई परिहार और नगर पंचायत अध्यक्ष सुंदरलाल विश्वकर्मा के बीच गर्माए विवाद में अब ठेकेदार की एंट्री हो गई है। गुरुवार दोपहर नगर पंचायत अध्यक्ष सुंदरलाल विश्वकर्मा के भाई जय कुमार विश्वकर्मा, सड़क ठेकेदार शिवराम पटेल के साथ कलेक्टर के पास पहुंचे और उन्हें एक शपथ पत्र दिया है। ठेकेदार ने कहा है कि विधायक ने सीएमओ के माध्यम से मुझसे 5 लाख रुपये की मांग की थी। जिस दिन नगर पंचायत में विधायक और अध्यक्ष के भाई के बीच विवाद हुआ उस समय मैं डर गया था इसलिए मैंने खुलकर बात नहीं की, लेकिन अब मैं इस बात को साफ तौर पर कह रहा हूं कि सीएमओ ज्योति सुसनेरे ने मुझसे सड़क निर्माण के बिल भुगतान के एवज में एक लाख रुपये का चेक लिया था जो मैंने सागर जाकर उनके परिचित को दिया। उन्होंने ही यह कहा था कि मैं विधायक से जाकर मिल लूं उन्हें भी 5 लाख रुपये देने हैं। क्या है विवाद बता दें कि 17 जुलाई को नगर पंचायत पथरिया में विधायक रामबाई सिंह परिहार और अध्यक्ष के भाई जय कुमार के बीच विवाद का एक वीडियो इंटरनेट मीडिया पर वायरल हुआ था। इसमें विधायक अपने गनमैन की गन खींचते और अध्यक्ष के भाई के साथ गाली गलौज करते नजर आई थीं। इस मामले में नगर पंचायत अध्यक्ष सुंदरलाल विश्वकर्मा की शिकायत पर पुलिस ने विधायक रामबाई और तीन पार्षदों पर शासकीय कार्य में बाधा पहुंचाने और शासकीय दस्तावेज फाड़ने की धाराओं में मामला दर्ज किया था। इसी मामले में सोमवार को नगर पंचायत की सीएमओ ने पुलिस को एक पत्र दिया जिसमें उन्होंने कहा कि उनके सामने विधायक ने कोई सरकारी दस्तावेज नहीं फाड़े और ना ही विवाद के दौरान अध्यक्ष वहां मौजूद थे। नगर पंचायत अध्यक्ष सुंदरलाल विश्वकर्मा का बयान भी सामने आया जिसमें उनका कहना है कि विधायक अपने समर्थकों के साथ पहले मेरे कक्ष में आई थीं और मेरे साथ गाली-गलौज की थी और दस्तावेज फाड़े। इसके बाद वे चेंबर से बाहर निकल गईं। तब मैंने अपने बड़े भाई जयकुमार को फोन लगाकर विधायक द्वारा की गई घटना की जानकारी दी। मेरा भाई आया तब विधायक सीएमओ के कक्ष में थीं। उसी दौरान विधायक ने अपना आपा खो दिया और वह गाली गलौज करने लगीं।  

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आरोप लगाता ठेकेदार शिवराम पटेल – फोटो : सोशल मीडिया

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दमोह के पथरिया बीएसपी विधायक रामबाई परिहार और नगर पंचायत अध्यक्ष सुंदरलाल विश्वकर्मा के बीच चल रहे विवाद में नया मोड़ सामने आया है। अब ठेकेदार ने कहा है कि मुझे सीएमओ ने कहा था कि विधायक ने पांच लाख मांगे हैं। इसके लिए कलेक्टर को शपथ पत्र भी सौंपा गया है। 

पथरिया बीएसपी विधायक रामबाई परिहार और नगर पंचायत अध्यक्ष सुंदरलाल विश्वकर्मा के बीच गर्माए विवाद में अब ठेकेदार की एंट्री हो गई है। गुरुवार दोपहर नगर पंचायत अध्यक्ष सुंदरलाल विश्वकर्मा के भाई जय कुमार विश्वकर्मा, सड़क ठेकेदार शिवराम पटेल के साथ कलेक्टर के पास पहुंचे और उन्हें एक शपथ पत्र दिया है। ठेकेदार ने कहा है कि विधायक ने सीएमओ के माध्यम से मुझसे 5 लाख रुपये की मांग की थी। जिस दिन नगर पंचायत में विधायक और अध्यक्ष के भाई के बीच विवाद हुआ उस समय मैं डर गया था इसलिए मैंने खुलकर बात नहीं की, लेकिन अब मैं इस बात को साफ तौर पर कह रहा हूं कि सीएमओ ज्योति सुसनेरे ने मुझसे सड़क निर्माण के बिल भुगतान के एवज में एक लाख रुपये का चेक लिया था जो मैंने सागर जाकर उनके परिचित को दिया। उन्होंने ही यह कहा था कि मैं विधायक से जाकर मिल लूं उन्हें भी 5 लाख रुपये देने हैं।

क्या है विवाद
बता दें कि 17 जुलाई को नगर पंचायत पथरिया में विधायक रामबाई सिंह परिहार और अध्यक्ष के भाई जय कुमार के बीच विवाद का एक वीडियो इंटरनेट मीडिया पर वायरल हुआ था। इसमें विधायक अपने गनमैन की गन खींचते और अध्यक्ष के भाई के साथ गाली गलौज करते नजर आई थीं। इस मामले में नगर पंचायत अध्यक्ष सुंदरलाल विश्वकर्मा की शिकायत पर पुलिस ने विधायक रामबाई और तीन पार्षदों पर शासकीय कार्य में बाधा पहुंचाने और शासकीय दस्तावेज फाड़ने की धाराओं में मामला दर्ज किया था। इसी मामले में सोमवार को नगर पंचायत की सीएमओ ने पुलिस को एक पत्र दिया जिसमें उन्होंने कहा कि उनके सामने विधायक ने कोई सरकारी दस्तावेज नहीं फाड़े और ना ही विवाद के दौरान अध्यक्ष वहां मौजूद थे। नगर पंचायत अध्यक्ष सुंदरलाल विश्वकर्मा का बयान भी सामने आया जिसमें उनका कहना है कि विधायक अपने समर्थकों के साथ पहले मेरे कक्ष में आई थीं और मेरे साथ गाली-गलौज की थी और दस्तावेज फाड़े। इसके बाद वे चेंबर से बाहर निकल गईं। तब मैंने अपने बड़े भाई जयकुमार को फोन लगाकर विधायक द्वारा की गई घटना की जानकारी दी। मेरा भाई आया तब विधायक सीएमओ के कक्ष में थीं। उसी दौरान विधायक ने अपना आपा खो दिया और वह गाली गलौज करने लगीं।
 

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