agriculture:-फल-और-सब्जी-की-बर्बादी-रोकने-के-लिये-मंथन
Agriculture: देश में हर साल उचित रखरखाव के अभाव में बड़े पैमाने पर फल और सब्जी बर्बाद हो जाते हैं. इस बर्बादी को रोकने के लिए केंद्र सरकार हॉर्टिकल्चर क्लस्टर और वेजिटेबल क्लस्टर बनाने की योजना पर काम कर रही है. सोमवार को इस बाबत केंद्रीय कृषि एवं किसान कल्याण मंत्रालय ने विभिन्न हितधारकों के साथ चर्चा की. इसमें किसान संगठन, सरकारी एजेंसी, स्टार्टअप, निजी क्षेत्र के लोगों ने भारत में कृषि के भविष्य पर मंथन किया. सब्जी और फल की उपलब्धता सुनिश्चित करने के लिए देश के विभिन्न हिस्सों में क्लस्टर बनाने, उत्पादन को बेहतर करने, उत्पाद पर उपभोक्ताओं की पहुंच सुनिश्चित करने पर जोर दिया गया. इससे किसानों की आय में इजाफा होगा. इसके लिए तीन स्तर पर काम करने पर बल दिया गया. उत्पाद के रखने के लिए स्टोरेज सुविधा का विकास, परिवहन की बेहतर सुविधा और वैल्यू एडिशन के लिए इंफ्रास्ट्रक्चर का विकास . क्लस्टर का निर्माण स्वाइल की गुणवत्ता, मौसम और बाजार से नजदीकी के आधार पर किया जाना चाहिए. इस काम में किसान उत्पादन संघ, कॉपरेटिव, कृषि क्षेत्र से जुड़े स्टार्टअप का अहम योगदान होगा.  हर बच्चे की फल और सब्जी तक पहुंच हो सुनिश्चित कार्यक्रम को संबोधित करते हुए केंद्रीय कृषि एवं कल्याण राज्य मंत्री रामनाथ ठाकुर ने कहा कि क्लस्टर के निर्माण से छोटे किसानों को फायदा होगा. इससे आने वाले समय में कृषि क्षेत्र में व्यापक बदलाव आ सकता है और इसका जमीनी स्तर पर व्यापक असर दिखेगा. उत्पादन के बाद फल और सब्जी की बर्बादी रोकने के लिए स्टोरेज इंफ्रास्ट्रक्चर का विकास बेहद जरूरी है. इससे इसके कीमतों पर लगाम लगाने में भी मदद मिलेगी. देखा गया है कि मौसम के साथ फल और सब्जियों के दाम काफी बढ़ जाते हैं और यह एक बड़ी समस्या है. हमारी कोशिश बच्चे तक फल और सब्जी की पहुंच सुनिश्चित करने पर होनी चाहिए. अगर ऐसा किया गया तो बच्चों में कुपोषण की समस्या को दूर किया जा सकता है. कृषि से संबंधित सभी चर्चा के केंद्रबिंदु में किसान होना चाहिए और उनकी आमदनी बढ़ाने के उपाय लागू होने चाहिए.  ReplyForward

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Agriculture: देश में हर साल उचित रखरखाव के अभाव में बड़े पैमाने पर फल और सब्जी बर्बाद हो जाते हैं. इस बर्बादी को रोकने के लिए केंद्र सरकार हॉर्टिकल्चर क्लस्टर और वेजिटेबल क्लस्टर बनाने की योजना पर काम कर रही है. सोमवार को इस बाबत केंद्रीय कृषि एवं किसान कल्याण मंत्रालय ने विभिन्न हितधारकों के साथ चर्चा की. इसमें किसान संगठन, सरकारी एजेंसी, स्टार्टअप, निजी क्षेत्र के लोगों ने भारत में कृषि के भविष्य पर मंथन किया. सब्जी और फल की उपलब्धता सुनिश्चित करने के लिए देश के विभिन्न हिस्सों में क्लस्टर बनाने, उत्पादन को बेहतर करने, उत्पाद पर उपभोक्ताओं की पहुंच सुनिश्चित करने पर जोर दिया गया. इससे किसानों की आय में इजाफा होगा. इसके लिए तीन स्तर पर काम करने पर बल दिया गया. उत्पाद के रखने के लिए स्टोरेज सुविधा का विकास, परिवहन की बेहतर सुविधा और वैल्यू एडिशन के लिए इंफ्रास्ट्रक्चर का विकास . क्लस्टर का निर्माण स्वाइल की गुणवत्ता, मौसम और बाजार से नजदीकी के आधार पर किया जाना चाहिए. इस काम में किसान उत्पादन संघ, कॉपरेटिव, कृषि क्षेत्र से जुड़े स्टार्टअप का अहम योगदान होगा. 

हर बच्चे की फल और सब्जी तक पहुंच हो सुनिश्चित कार्यक्रम को संबोधित करते हुए केंद्रीय कृषि एवं कल्याण राज्य मंत्री रामनाथ ठाकुर ने कहा कि क्लस्टर के निर्माण से छोटे किसानों को फायदा होगा. इससे आने वाले समय में कृषि क्षेत्र में व्यापक बदलाव आ सकता है और इसका जमीनी स्तर पर व्यापक असर दिखेगा. उत्पादन के बाद फल और सब्जी की बर्बादी रोकने के लिए स्टोरेज इंफ्रास्ट्रक्चर का विकास बेहद जरूरी है. इससे इसके कीमतों पर लगाम लगाने में भी मदद मिलेगी. देखा गया है कि मौसम के साथ फल और सब्जियों के दाम काफी बढ़ जाते हैं और यह एक बड़ी समस्या है. हमारी कोशिश बच्चे तक फल और सब्जी की पहुंच सुनिश्चित करने पर होनी चाहिए. अगर ऐसा किया गया तो बच्चों में कुपोषण की समस्या को दूर किया जा सकता है. कृषि से संबंधित सभी चर्चा के केंद्रबिंदु में किसान होना चाहिए और उनकी आमदनी बढ़ाने के उपाय लागू होने चाहिए. 

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