डीपीआई – फोटो : अमर उजाला
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मध्य प्रदेश के स्कूलों द्वारा विद्यार्थियों का समय पर फॉर्म और फीस समय पर नहीं भरे जाने पर कई बार छात्रों को विलंब शुल्क भरना पड़ता है, और कभी-कभी तो कई छात्र परीक्षा भी नहीं दे पाते। विद्यार्थियों की यह परेशानी देखते हुए शिक्षा विभाग ने एक आदेश जारी किया है जिसके अनुसार अब छात्रों का परीक्षा फॉर्म अगर समय रहते जमा नहीं होता है तो स्कूल और प्राचार्य द्वारा विलंब शुल्क भरा जाएगा। यानि अब यह जिम्मेदारी स्कूल प्राचार्य की होगी। छात्रों को परीक्षा फॉर्म और फीस को लेकर परेशान नहीं होना पड़ेगा।
विलंब हुआ तो छात्र नहीं प्रचार भरेंगे लेट फीस
मध्य प्रदेश में एमपी बोर्ड की परीक्षाओं का समय सारणी जारी कर दिया गया है। फरवरी माह में 10वीं 12वीं की परीक्षाएं आयोजित की जाएगी। परीक्षाओं को लेकर विभाग पहले से तैयारी शुरू कर दी है। इसी कड़ी में विभाग द्वारा बड़ा फैसला लिया गया है। जिसके तहत अब छात्रों का परीक्षा फॉर्म अगर समय पर जमा नहीं होता है तो स्कूल और प्राचार्य द्वारा विलंब शुल्क भरा जाएगा।
पिछले साल कुछ विद्यार्थियों को हुई थी परेशानी
गौरतलब है कि पिछले वर्ष छात्रों का फार्म और फीस कई स्कूल द्वारा समय पर जमा नहीं किया गया था। जिसकी वजह से छात्रों का साल बर्बाद हो गया था। जिसको देखते हुए विभाग ने छात्रों के हित में यह कदम उठाया गया। विभाग द्वारा जारी आदेश के तहत 10वीं-12वीं की परीक्षा फीस जमा करने की जिम्मेदारी स्कूल संचालक और प्राचार्य की दी गई है। यह फॉर्म कियोस्क के माध्यम से जमा करवाए जाएंगे। लेकिन विद्यार्थी के कियोस्क जाकर फीस जमा करने पर रोक लगा दी है। जानकारी के लिए बतादें की मध्य प्रदेश स्कूल शिक्षा विभाग ने बोर्ड परीक्षा के तारीखों का खुलासा भी कर दिया है। जिसके तहत कक्षा 10 और 12वीं की परीक्षा 25 फरवरी से आयोजित की जाएंगी। एमपी बोर्ड ने घोषणा की है कि सभी परीक्षाओं का आयोजन निर्धारित तिथियों पर 3 घंटे की पाली में किया जाएगा, जो कि सुबह 9 बजे से शुरू होगी।
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